मीडिया दफ्तरों पर छापे अपने अंत की तरफ बढ़ रहे तानाशाह का आत्मघाती मूर्खता भरा कदम : प्रदेश महासचिव
जौनपुर उत्तर प्रदेश कांग्रेस मानवाधिकार विभाग प्रदेश महासचिव अनिल दुबे आजाद ने बीबीसी के दिल्ली और मुंबई स्थित दफ्तरों पर आयकर विभाग के छापे को मोदी सरकार का अपने अंत की तरफ बढ़ रहे तानाशाह की आत्मघाती मूर्खता क़रार दिया है.
प्रदेश महासचिव ने कहा कि आयकर विभाग का छापा तो अदानी के दफ्तरों पर मारना चाहिए था लेकिन सरकार विश्वस्तरीय मीडिया संस्थान पर छापा मरवा रही है. उन्होंने कहा कि मोदी हर तानाशाह की तरह अपने अंत की तरफ बढ़ते हुए निर्णायक गलतियाँ कर रहे हैं. उन्हें यह समझना चाहिए कि 2002 के साम्प्रदायिक जनसंहार में उनकी भूमिका जानने के लिए लोगों को किसी की डॉक्युमेंट्री देखने की ज़रूरत नहीं है. उनकी भूमिका सबको वैसे ही पता है जैसे सबको पता है कि मोदी की डिग्री फ़र्ज़ी है या एंटायर पोलिटिकल साइंस नाम का कोई विषय नहीं होता अनिल दुबे आजाद ने कहा कि ऐसा लगता है कि संसद में राहुल गांधी के भाषण के बाद मोदी का मानसिक संतुलन बिगड़ गया है. उन्हें यह समझना चाहिए कि सत्ता में होने से यह तथ्य नहीं बदल जायेगा कि अमरिका समेत दर्जनों देशों ने उनको अपने देश में घुसने से प्रतिबंधित कर दिया था या उनके गृह मंत्री हत्या के मामले में न सिर्फ जेल जा चुके हैं बल्कि अपने राज्य से तड़ीपार भी किये जा चुके हैं.
जौनपुर उत्तर प्रदेश कांग्रेस मानवाधिकार विभाग प्रदेश महासचिव अनिल दुबे आजाद ने बीबीसी के दिल्ली और मुंबई स्थित दफ्तरों पर आयकर विभाग के छापे को मोदी सरकार का अपने अंत की तरफ बढ़ रहे तानाशाह की आत्मघाती मूर्खता क़रार दिया है.
प्रदेश महासचिव ने कहा कि आयकर विभाग का छापा तो अदानी के दफ्तरों पर मारना चाहिए था लेकिन सरकार विश्वस्तरीय मीडिया संस्थान पर छापा मरवा रही है. उन्होंने कहा कि मोदी हर तानाशाह की तरह अपने अंत की तरफ बढ़ते हुए निर्णायक गलतियाँ कर रहे हैं. उन्हें यह समझना चाहिए कि 2002 के साम्प्रदायिक जनसंहार में उनकी भूमिका जानने के लिए लोगों को किसी की डॉक्युमेंट्री देखने की ज़रूरत नहीं है. उनकी भूमिका सबको वैसे ही पता है जैसे सबको पता है कि मोदी की डिग्री फ़र्ज़ी है या एंटायर पोलिटिकल साइंस नाम का कोई विषय नहीं होता अनिल दुबे आजाद ने कहा कि ऐसा लगता है कि संसद में राहुल गांधी के भाषण के बाद मोदी का मानसिक संतुलन बिगड़ गया है. उन्हें यह समझना चाहिए कि सत्ता में होने से यह तथ्य नहीं बदल जायेगा कि अमरिका समेत दर्जनों देशों ने उनको अपने देश में घुसने से प्रतिबंधित कर दिया था या उनके गृह मंत्री हत्या के मामले में न सिर्फ जेल जा चुके हैं बल्कि अपने राज्य से तड़ीपार भी किये जा चुके हैं.
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